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मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने 27 सितंबर को सागर में आयोजित होने वाली "क्षेत्रीय औद्योगिक सम्मलेन " (Regional Industrial Conclave) के संबंध में वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से आयोजित बैठक में कहा कि बुंदेलखंड क्षेत्र में वर्तमान उद्योगों के साथ-साथ नए उद्योगों की स्थापना में आने वाली अड़चनों को दूर किया जाएगा। खासकर अगरबत्ती जैसे बीमारू उद्योगों को इस सूची से बाहर निकालने की दिशा में कार्य किया जाएगा।

यहां छोटे उद्योगों के साथ-साथ सहायता समूहों के द्वारा बनाए जाने वाले विभिन्न उत्पादों को भी आगे बढ़ाने के अवसर दिए जाएंगे। शासन की "हर आंगन में रोजगार" नीति के तहत वर्तमान संसाधनों के साथ उद्योगों को प्रोत्साहन दिया जाएगा  इसी प्रकार अगरबत्ती जैसे बीमारू उद्योगों को इस सूची से बाहर निकालने की दिशा में कार्य किया जाएगा।

27 सितंबर को आयोजित होने वाली रीजनल इंडस्ट्रियल कॉन्क्लेव की तैयारी एवं उद्योगपतियों की बैठक में मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने कहा कि बुंदेलखंड की बीड़ी एवं अगरबत्ती उद्योगों की समस्याओं को केंद्र एवं राज्य स्तर पर चर्चा करके निराकृत किया जाएगा एवं बड़ी एवं अगरबत्ती उद्योग को पुनर्जीवित कर रोजगार उपलब्ध कराए जाएंगे‌। 

उन्होंने कहा कि सागर संभाग के 6 जिलों में स्थानीय स्तर के उद्योगों को आगे बढ़ाने के लिए उनकी हर संभव मदद दी जाएगी। उन्होंने कहा कि पीतल की मूर्ति, बर्तन उद्योग, अगरबत्ती उद्योग, बीड़ी उद्योग, पर्यटन, फूड प्रोसेसिंग इंडस्टरीज, लकड़ी उद्योग, अदरक, टमाटर,लहसुन के उत्पादों को आगे बढ़ाने के प्रोत्साहन दिया जाएगा। 

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि सागर संभाग सहित संपूर्ण बुंदेलखंड में पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं और इस दिशा में आगे बढ़ने के लिए सभी कलेक्टर संभाग कमिश्नर के नेतृत्व में कार्य योजना तैयार कर प्रस्तुत करें। उन्होंने निर्देश दिए कि 27 तारीख को आयोजित होने वाली रीजनल इंडस्ट्रियल कॉन्क्लेव में शासन की योजनाओं की जानकारी का प्रदर्शन किया जाए।

इस अवसर पर रहली के विधायक ने कहा की रहली विधानसभा क्षेत्र में नौरादेही टाइगर रिजर्व में पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं इसके लिए और प्रयास करने होंगे।  

सागर के विधायक ने कहा कि सागर की बीड़ी एवं अगरबत्ती उद्योग की समस्याओं को दूर करने के लिए शासन स्तर पर लगातार प्रयास किया जा रहे हैं। सागर में अगरबत्ती उद्योग में उपयोग किए जाने वाले बांस की प्रमुख समस्या है, जिसे आयात करना पड़ता है और इस कारण लागत भी कई गुना बढ़ जाती है। यदि बांस स्थानीय क्षेत्र में ही उपलब्ध हो जाए तो अगरबत्ती उद्योग पुनर्जीवित हो सकेगा। 

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में सागर के बीड़ी उद्योगपति ने बीड़ी उद्योग के संबंध में एवं अपने उद्योग के संबंध में जानकारी दी एवं उनकी समस्याओं को दूर करने की अपेक्षा की।

मुख्यमंत्री डॉक्टर मोहन यादव ने सागर, छतरपुर, निवाड़ी दमोह, पन्ना  के उद्योगों एवं उनके जिलों में उद्योगों की स्थिति के संबंध में जानकारी प्राप्त की।

इस अवसर पर भोपाल से खाद्य , नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री, सूक्ष्म लघु, मध्यम उद्योग मंत्री,रहली के  विधायक एवं सागर विधायक, महापौर, संभाग कमिश्नर, कलेक्टर, अपर कमिश्नर, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी सहित अन्य जनप्रतिनिधि, उद्योगपति एवं अधिकारी मौजूद थे।


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